दीपक मिश्रा – यूपी के प्रयागराज कुंभ मेले में साधु संतों द्वारा लगाई गई होर्डिंग का मौलाना शहाबुद्दीन रजवी ने बड़ा विरोध किया है. मौलाना ने कहा है कि कुंभ मेला एक मजहबी पवित्र मेला है, यहां पर सियासत करना इस मेला की पवित्रता के खिलाफ होगा.
मौलाना ने मेला पहुंचने वाले अखाड़ा परिषदों के साथ-साथ प्रदेश सरकार से इस तरह की बातों को करने वालों पर रोक लगाये जाने की मांग की है. वहीं उन्होंने कहा कि वक्फ बोर्ड में जो जमीन है वह सब मुसलमानों की दी हुई है. किसी भी हिंदू ने कोई जमीन नहीं दी है.
दरअसल, प्रयागराज कुंभ मेला में जगतगुरु रामानंदाचार्य ने होर्डिग लगाए हैं. जिस पर लिखा है वक्फ के नाम पर संपत्ति की लूट है. धर्मनिरपेक्ष देश में यह कैसी छूट है. इसके अलावा इससे पहले भी जगतगुरु रामानंदाचार्य ने एक और होर्डिंग लगवाई की थी. डरेंगे तो मारेंगे. जैसे होर्डिंग लगवाए थे जिनको लेकर पूरे देश में खूब चर्चा हुई थी.
अब बरेली से मौलाना शहाबुद्दीन रजवी ने विरोध करते हुए कहा है कि कुंभ मेला हिंदू धर्म का बेहद ही पवित्र मेला और स्थान है. तमाम साधु संतों और अखाड़ा परिषदों की जिम्मेदारी है कि कुंभ मेला को हिंदू-मुस्लिम के अखाड़े का मेला ना बनाएं. लेकिन तमाम साधु-संतों ने कुंभ मेला को एक ऐसा अखाड़ा बना दिया कि इस मेले में सभी समस्याओं का हल निकल जाएगा.
मौलाना ने आगे कहा है कि वक्फ बोर्ड का गठन लाचार बेबस विधवाओं की मदद के लिए बनाया गया था. वक्फ बोर्ड में जो जमीन है वह सब मुसलमानों की दी हुई है. किसी भी हिंदू ने कोई जमीन नहीं दी है और इस बोर्ड को हुकूमत ने नियंत्रित किया, इसी तरह से सनातन बोर्ड का गठन होना चाहिए मैं इसका समर्थन करता हूं.
मंदिरों मठ में जो जमीन हैं, जो संपत्तियां हैं उनकी निगरानी के लिए सनातन बोर्ड के गठन का होना बहुत जरूरी है. मौलाना ने कहा है कि साधु संत इस वक्त हिंदू मुस्लिम एकता के दुश्मन बने हुए हैं. देश में हिंदू मुस्लिम के नाम पर फूट डालना चाहते हैं जो कि हरगिज नहीं होगा, मैं हुकूमत से यह गुजारिश करता हूं कि इस तरह की उकसाने वाले समाज को बांटने की बात करने वालों के खिलाफ सख्ती बरती जाए.
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